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जानिए ओमिक्रोन वैरिएंट किन लोगों के लिए ज्यादा खतरनाक हो सकता है

नई दिल्ली : देश में कोरोना के नए वेरिएंट के मामले आने के बाद अब लोगों की चिंता और बढ़ गयी है। जानकारी के मुताबिक जिन 2 व्यक्तियों के ओमिक्रोन से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है उनकी उम्र 46 और 66 साल है और इन लोगों में कोरोना के हल्के लक्षण हैं। ऐसे समय में जब देश में ओमिक्रोन वेरिएंट की दस्तक हो चुकी है लोगों में इस नए वेरिएंट को लेकर चिंता भी बढ़ गयी है।

कोरोना वायरस लगातार म्यूटेट हो रहा है

दुनियाभर में कोरोना के अलग-अलग वेरिएंट के बारे में जानकारी के लिए जीनोमिक सर्विलांस किया जाता है और इसमें कोरोना से प्रभावित लोगों के सैंपल की लैब में जांच की जाती है। ओमिक्रोन को वेरिएंट को 'वेरिएंट ऑफ कंसर्न' मानने के पीछे इसकी संक्रमण क्षमता लक्षण और मरीजों में इस वेरिएंट का संक्रमण कितना गंभीर हो सकता है जैसे कारण प्रमुख हैं। ओमिक्रोन वेरिएंट शरीर में मौजूद मोनोक्लोनल एंटीबॉडी पर कितना प्रभाव डालता है और इस पर वैक्सीन की प्रभावशीलता कितनी है इसके आधार पर इसे वेरिएंट ऑफ कंसर्न माना गया है।

क्या ओमिक्रोन वेरिएंट के लक्षण पुराने वेरिएंट से अलग हैं

इस वेरिएंट के लक्षण पुराने वेरिएंट की तुलना में अलग हैं क्योंकि यह एक नया वेरिएंट है जिसके बारे में पर्याप्त जानकारी अभी नहीं है। इस नए वेरिएंट के लक्षणों के बारे में जानकारी के लिए हमें कुछ दिन तक संक्रमित लोगों की निगरानी करने की जरूरत है। लेकिन यह कहा जा सकता है कि यह वेरिएंट पहले की तुलना में अधिक खतरनाक है। क्योंकि इससे पहले मिले सभी वेरिएंट के जीनोमिक स्ट्रक्चर में इतने बदलाव नहीं देखे गए थे। ओमिक्रोन वेरिएंट के स्पाइक प्रोटीन में 30 से अधिक म्यूटेशन देखे गए हैं जिसकी वजह से इसे अधिक संक्रामक माना जा रहा है।

क्या बदलते मौसम में ओमिक्रोन वेरिएंट का खतरा ज्यादा है

क्सपर्ट्स के मुताबिक बदलते मौसम में लोगों को कोरोना संक्रमण से सावधान रहने की जरूरत है। कोरोना के नए वेरिएंट से डरने की जगह सावधानी और जानकारी आपको संक्रमण की चपेट में आने से बचा सकती है। अगर आपको सर्दी-जुकाम बुखार और कोरोना से जुड़े लक्षण लगातार बने रहते हैं तो सबसे पहले आप खुद को आइसोलेट करें और अगर ये लक्षण अधिक गंभीर हो रहे हों तो कोरोना की जांच जरूर कराएं। अगर आप अस्थमा और हाइपरटेंशन के मरीज हैं तो सावधानी जरूर बरतें और समय-समय पर अपने डॉक्टर की सलाह लेते रहें।

क्या वैक्सीन की दोनों डोज ले चुके लोगों को भी ओमिक्रोन वेरिएंट का खतरा

एक्सपर्ट ने बताया कि वैक्सीन की दोनों डोज ले चुके लोगों को ओमिक्रोन वेरिएंट के संक्रमण का कितना खतरा है इसके बारे में पर्याप्त जानकारी अभी मौजूद नहीं है। लेकिन ऐसे लोग जो कोरोना के संक्रमण के हाई रिस्क पर हैं उन्हें बूस्टर शॉट जरूर दिया जाना चाहिए। ऐसे लोग जो फ्रंटलाइन पर काम कर रहे हैं उन्हें बूस्टर डोज देने से उनमें संक्रमण का खतरा कम हो सकता है।

क्या बच्चों को भी ओमिक्रोन वेरिएंट का खतरा है

बच्चों में संक्रमण के खतरे को देखते हुए पेरेंट्स को इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि बच्चे बाहर निकलते समय कोरोना से बचाव के नियमों का पालन करें। मास्क लगाने, सामाजिक दूरी का पालन करने और समय-समय पर हाथ धोने से ही संक्रमण से बचाव हो सकता है।

ओमिक्रोन वेरिएंट से बचाव के उपाय
अभी तक दुनियाभर में कोरोना के इलाज के लिए कोई विशेष ट्रीटमेंट नहीं मिला है। इसलिए जो लोग हाई रिस्क पर हैं उन्हें इससे बचाव के लिए मास्क का इस्तेमाल सामाजिक दूरी के नियमों का पालन हाथ को सेनिटाइज करना और लक्षण दिखने पर खुद को आइसोलेशन में रखना चाहिए। इसके अलावा बुखार आने पर उन्हें दवाओं का इस्तेमाल करना चाहिए। लगातार लक्षण बने रहने पर डॉक्टर से संपर्क जरूर करना चाहिए। घूमने के लिए यात्रा करने से बचना चाहिए। अगर कोई आपातकालीन स्थिति है जिसमें यात्रा करना जरूरी है तभी करें। इसके अलावा यात्रा के दौरान कोरोना के संक्रमण से बचाव के लिए मास्क और सेनिटाइजर का इस्तेमाल करें। इसके अलावा सामाजिक दूरी ने नियमों का ध्यान जरूर रखें।



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