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एक ही दिन में Jio Platforms में दो निवेशकों ने लगाया पैसा, कुल निवेश 1 लाख करोड़ के पार

नई दिल्ली। मुकेश अंबानी ( Mukesh Ambani ) की जियो प्लेटफॉर्म्स ( Jio Platforms ) में कुल निवेश 1 लाख 4 हजार करोड़ को पार कर गया है। शनिवार को एक ही दिन में दो निवेशकों ने जियो प्लेटफॉर्म्स में निवेश ( Jio Platforms Investments ) की घोषणा की पहले टीपीजी ( Jio Platforms TPG Deal ) ने 0.93 फीसदी इक्विटी के लिए 4,546.80 करोड़ रुपए और फिर एल केटरटन ( Jio Platforms and L Catterton Deal ) ने 0.39 फीसदी इक्विटी के लिए 1,894.50 करोड़ रुपए निवेश की घोषणा की। पिछले 8 हफ्तों में 10 निवेशों के जरिए जियो प्लेटफॉर्म्स में 22.38 फीसदी इक्विटी के लिए कुल 1,04,326.95 करोड़ रुपए का निवेश हो चुका है। यह निवेश 22 अप्रैल को फेसबुक ( Facebook ) से शुरू हुआ था, उसके बाद सिल्वर लेक ( Silver Lake ), विस्टा इक्विटी ( Vista Equity ), जनरल अटलांटिक ( General Atlantic ), केकेआर ( KKR ), मुबाडला Mubadala ) और सिल्वर लेक ने अतिरिक्त निवेश किया था। पिछले रविवार को ही अबू धाबी इन्वेस्टमेंट अथॉरिटी ( Abu Dhabi Investment Authority ) ने भी निवेश की घोषणा की थी।

कौन है टीजीपी और एल केटरटन
टीजीपी एक प्रमुख वैश्विक एसेट फर्म है, जिसकी स्थापना 1992 में डॉलर 79 अरब से अधिक परिसंपत्तियों के प्रबंधन के साथ हुई थी। जिसमें निजी इक्विटी, ग्रोथ इक्विटी, रियल एस्टेट और पब्लिक इक्विटी शामिल हैं। टीपीजी के 25 वर्षों से अधिक के इतिहास में दुनिया भर में सैकड़ों पोर्टफोलियो कंपनियों का एक विस्तृत नेटवर्क बनाया है। वैश्विक प्रौद्योगिकी कंपनियों में इसके निवेश में एयरबीएनबी, उबेर और स्पॉटिफाई शामिल हैं। वहीं एल केटरटन 1989 में स्थापित हुई थी, जो दुनिया भर में अग्रणी उपभोक्ता-केंद्रित ब्रांडों में निवेश करती है। निवेश के मामले में एल केटरटन का 30 साल का ट्रैक रिकॉर्ड है। पेलोटन, वूमर, क्लासपास, ओवेन्डेस, फैबइंडिया, आदि में एल केटरटन का निवेश है।

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मुकेश अंबानी ने कहा
रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक मुकेश अंबानी ने टीपीजी निवेश पर कहा आज एक महत्वपूर्ण साझेदार के रूप में टीपीजी का स्वागत करते हुए मुझे खुशी हो रही है। जो एक डिजिटल इकोसिस्टम के माध्यम से भारतीयों के जीवन को डिजिटल रूप से सशक्त बनाने के हमारे निरंतर प्रयासों के हमसफर होंगे। हम टीपीजी के वैश्विक प्रौद्योगिकी व्यवसायों में निवेश के ट्रैक रिकॉर्ड से प्रभावित हैं, जो सैकड़ों करोड़ उपभोक्ताओं और छोटे व्यवसायों के साथ काम करते हैं, और बेहतर समाज बना रहे हैं।

कारोबारियों से लेकर किसानों तक को हो फायदा
मुकेश अंबानी ने कहा जियो एक ऐसे 'डिजिटल भारत' का निर्माण करना चाहता है जिसका फायदा 130 करोड़ भारतीयों और व्यवसायों को मिले। एक ऐसा 'डिजिटल भारत' जिससे खास तौर पर देश के छोटे व्यापारियों, माइक्रो व्यवसायिओं और किसानों के हाथ मजबूत हों। जियो ने भारत में डिजिटल क्रांति लाने और भारत को दुनिया की सबसे बड़ी डिजिटल ताकतों के बीच अहम स्थान दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

क्या है जियो प्लेटफॉर्म्स
जियो प्लेटफॉर्म्स, रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड की 'फुली ओन्ड सब्सिडियरी' है। ये एक 'नेक्स्ट जनरेशन' टेक्नॉलोजी कंपनी है जो भारत को एक डिजिटल सोसायटी बनाने के काम में मदद कर रही है। इसके लिए जियो के प्रमुख डिजिटल एप, डिजिटल ईकोसिस्टम और भारत के नंबर है। हाइ-स्पीड कनेक्टिविटी प्लेटफॉर्म को एक-साथ लाने का काम कर रही है। रिलायंस जियो इंफोकॉम लिमिटेड, जिसके 38 करोड़ 80 लाख ग्राहक हैं, वो जियो प्लेटफॉर्म्स लिमिटेड की 'होल्ली ओन्ड सब्सिडियरी' बनी रहेगी।



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